
शाम का समय, स्थान विवि का सीनेट हाल और वातावरण में गूंजती डीआईजी अरविंद पांडेय की स्वर लहरियां। यह महज एक संयोग नहीं बल्कि शहीदों के सम्मान में आयोजित एक कार्यक्रम था एक शाम शहीदों के नाम। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि उपस्थित डीआईजी ने युवाओं को न सिर्फ फिर से खुदी राम बोस, शहीद भगत सिंह पैदा करने को देश भक्ति का जज्बा उत्पन्न करने को कहा, बल्कि अपने देश भक्ति गीतों से लोगों को भाव विभोर कर दिया। उन्होंने फिल्म जिस देश में गंगा बहती है के होंठो पे सच्चाई रहती है, जहां दिल में सफाई रहती है व बोर्डर फिल्म के संदेशे आते हैं संदेशे जाते हैं गानों को बखूबी गाया। और अंत में तेरा वैभव अमर रहे मां, हम दिन चार रहें ना रहें गाकर भारत माता के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि अर्पित की। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रदेश अध्यक्ष डा. वीके राय ने कहा कि युवा देश की रीढ़ हैं, उन्हें देश विरोधी ताकतों से लड़ने को सदैव तैयार रहना चाहिये। स्वागताध्यक्ष सीनेट सदस्य डा. ममता रानी ने अतिथियों का स्वागत करते हुए 1857 की क्रांति पर विस्तार से प्रकाश डाला। दूसरे सत्र में सांस्कृतिक कार्यक्रम पेश किये गये। जिसमें सुरभि, असिता राज, उमिका व सोनु मुस्कान ने देशभक्ति गीत-नृत्य पेश किये। कार्यक्रम का संचालन जैनेंद्र व मुकुल ने किया। कार्यक्रम के अंत में गोरखपुर से आये सुजीत ने धन्यवाद ज्ञापन किया।